2021: इन मंत्रो के जाप से दूर होंगे ग्रह दोष, हर ओर से आएगी खुशियां

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जीवन में सुख शांति, समृद्धि और सकारात्मकता बनाये रखने के लिए ज्योतिष शास्त्र में कई उपाय बताये गए है | ज्योतिष का मानना है कि जीवन में आने वाले सुख और दुख हमारी कुंडली में मौजूद ग्रहो की स्थिति पर निर्भर करते है | ऐसे में यदि आपकी कुंडली में ग्रहो से संबंधित किसी प्रकार का दोष है, तो हम आपको उन्हें दूर करने के लिए कुछ उपाय बताने जा रहे है | ताकि आपका आने वाला सुख शांति से बीते, तो आइये जानते है | आज की इस पोस्ट में आपके लिए क्या ख़ास है |
सूर्य
 
 
कुंडली में कमजोर सूर्य शारीरिक और सफलता पर नकारात्मक प्रभाव डालते है | ऐसे में रोजाना सूर्य को जल अर्पित करते समय ‘ॐ घृणि सूर्याय नम:’ मंत्र का जप करे | और जल अर्पण के पश्चात् लाल आसान पर बैठकर पूर्व दिशा में मुख कर अग्रलिखित मंत्र का 108 बार जाप करे |
एहि सूर्य सहस्त्रांशो तेजोराशे जगत्पते।
अनुकम्पय मां भक्त्या गृहणार्ध्य दिवाकर।।
चन्द्रमा
 
 
कुंडली में कमजोर चन्द्रमा के चलते कलह, मानसिक विकार, दुर्बलता, धन की कमी का सामना करना पड़ता है | इससे बचने के लिए आप साफ सफाई पर अधिक ध्यान दे, और नीचे बताये मंत्रों का जाप करे |
1.ॐ ऐं क्लीं सोमाय नम:।।
2.ॐ श्रां श्रीं श्रौं स: चन्द्रमसे नम:।।
मंगल
 
 
जीवन में ऊर्जा और तरक्की के लिए मंगल का मजबूत होना अत्यंत आवश्यक है | मंगल का प्रभाव कुछ कुछ शांति के तरह ही होता है, इसीलिए लोग इससे भय खाते है | ऐसे में मंगल देव की कृपा प्राप्ति के लिए आप इस मंत्र का जाप करे |
1.अं अंगारकाय नम:।
2. धरणीगर्भसंभूतं विद्युत्कांति समप्रभम्।
कुमारं शक्तिहस्तं च भौममावाह्यम्||
बुध
 
 
नौ ग्रहो में बुध शारीरिक रूप से कमजोर और बौद्धिक रूप से सबसे आगे है | ऐसे में व्यक्ति के लिए बुध देव की कृपा अत्यंत आवश्यक है | ऐसे में बुध की शुभता प्राप्ति के लिए आप बुध के बीज मंत्र का जाप करे |
ॐ ब्रां ब्रीं ब्रौं स: बुधाय नम:।।
बृहस्पति
 
 
ज्योतिष में बृहस्पति को सभी ग्रहो का गुरु माना गया है | इनके शुभ प्रभाव से सुख, सौभाग्य, दीर्घायु, और धन धान्य की प्राप्ति होती है | लेकिन इनकी अशुभ स्थिति अहितकारी साबित होती है | ऐसे में आप इस मंत्र का रोजाना 108 बार जाप करे |
देवानां च ऋषीणां च गुरुं कांचनसंनिभम्।
बुद्धिभूतं त्रिलोकशं तं नमामि बहस्पतिम्।।
शुक्र
 
 
कुंडली में शुक्र की अशुभ स्थिति होने पर आर्थिक संकटो और कई तरह के अशुभ का सामना करना पड़ता है | ऐसे में जीवन में सुख शांति और शुक्र की कृपा के लिए इस मंत्र का जाप करे |
ॐ शुं शुक्राय नम:।
शनि
 
 
कुंडली में शनि की अशुभ स्थिति कई तरह की परेशानियां उत्पन्न करती है, तो शुभ स्थिति जीवन में खुशियां भर देती है | यदि आप शनिदोष से पीड़ित है, तो आपको अपने व्यवहार में मधुरता लानी होगी और नीचे बताये मंत्रों का पूर्ण श्रध्दा से जाप करना होगा |
1. ॐ शं शनैश्चराय नमः।
2. ॐ प्रां प्रीं प्रौ सं शनैश्चराय नमः।
राहु और केतु
 
 
ये दोनों ही ग्रह छाया ग्रह है | राहु की अशुभ स्थिति जीवन में असफलता का कारण बनती है, तो केतु की अशुभ स्थिति जीवन में भ्रम पैदा करने लगती है | इनके अशुभ प्रभाव से बचने के लिए आप बुजुर्गो की सेवा करे और नीचे बताये मंत्र का जाप करे |
राहु:- ॐ भ्रां भ्रीं भ्रौं स: राहवे नम:’।
केतु:- ॐ कें केतवे नम:।

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